🌟 स्थिर ग्रह (Stationary) की भूमिका – ज्योतिष में एक निर्णायक क्षण
ज्योतिष शास्त्र में ग्रहों की गति केवल मार्गी और वक्री तक सीमित नहीं होती। इनके बीच की एक अत्यंत महत्वपूर्ण अवस्था होती है, जिसे स्थिर ग्रह (Stationary Planet) कहा जाता है। यह वह समय होता है जब ग्रह न तो आगे बढ़ता दिखाई देता है और न ही पीछे—मानो वह एक क्षण के लिए ठहर गया हो। 🪐 स्थिर ग्रह क्या होते हैं? जब कोई ग्रह मार्गी से वक्री या वक्री से मार्गी होने से ठीक पहले या बाद में अपनी गति लगभग शून्य कर लेता है, तब वह स्थिर अवस्था में माना जाता है। ➡️ यह स्थिति कुछ दिनों या घंटों की हो सकती है, लेकिन इसका प्रभाव अत्यंत गहरा माना जाता है। 🔍 स्थिर ग्रह का ज्योतिषीय महत्व स्थिर ग्रहों को ज्योतिष में टर्निंग पॉइंट कहा जाता है, क्योंकि यहीं से बड़े परिवर्तन आरंभ होते हैं। मुख्य प्रभाव: जीवन में ठहराव और गहन सोच बड़े और निर्णायक फैसलों का समय मानसिक द्वंद्व व पुनर्विचार पुराने कर्मों का तीव्र प्रभाव 👉 जो ग्रह स्थिर होता है, वह अपने फल को अत्यधिक शक्तिशाली बना देता है। ⚖️ कुंडली में स्थिर ग्रह का प्रभाव यदि जन्म कुंडली में कोई ग्रह स्थिर अवस्था के पास हो: ...